Angika News | आयोग से जुड़े मैथिली भाषा के कुछ लोगों ने साजिश की : प्रो. शिवनारायण | Angika.com
Some people of Maithili language associated with the commission conspired : Prof. Shivnarayan
आयोग से जुड़े मैथिली भाषा के कुछ लोगों ने साजिश की : प्रो. शिवनारायण
लेखक प्रो. शिवनारायण ने कहा कि- "बिहार में जो सबसे पुराना बोली है वह अंगिका और मगही है। वैदिक काल से भी पहले व्रात्य सभ्यता की भाषा यह है। तब अन्य भाषाओं का जन्म भी नहीं हुआ था। लेकिन ब्राह्मणवादी राजनीति की वजह से मैथिली आठवीं सूची में आ गई। मैथिली ने अंगिका और बज्जिका को अपनी उपबोली बता दिया और पॉलिटिकल लाभ ले लिया। अंगिका बिहार की सबसे पुरानी बोलियों में है। इस बार भी जनगणना आयोग से जुड़े मैथिली भाषा के कुछ लोगों ने साजिश की है। इसके लिए जनअभियान छेड़ने की जरूरत है। छह-सात करोड़ लोग अंगिका बोलते हैं। जनगणना निदेशालय को हर हाल में अंगिका का नाम जोड़ना चाहिए। मैथिली प्रांत के नेताओं की तरह अंग के नेताओं, लेखकों, पत्रकारों को एकजुट होना चाहिए।"
लेखक
प्रो. शिवनारायण ने कहा कि- "बिहार में जो सबसे पुराना बोली है वह अंगिका
और मगही है। वैदिक काल से भी पहले व्रात्य सभ्यता की भाषा यह है। तब अन्य
भाषाओं का जन्म भी नहीं हुआ था। लेकिन ब्राह्मणवादी राजनीति की वजह से
मैथिली आठवीं सूची में आ गई। मैथिली ने अंगिका और बज्जिका को अपनी उपबोली
बता दिया और पॉलिटिकल लाभ ले लिया। अंगिका बिहार की सबसे पुरानी बोलियों
में है। इस बार भी जनगणना आयोग से जुड़े मैथिली भाषा के कुछ लोगों ने साजिश
की है। इसके लिए जनअभियान छेड़ने की जरूरत है। छह-सात करोड़ लोग अंगिका
बोलते हैं। जनगणना निदेशालय को हर हाल में अंगिका का नाम जोड़ना चाहिए।
मैथिली प्रांत के नेताओं की तरह अंग के नेताओं, लेखकों, पत्रकारों को एकजुट
होना चाहिए।"
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